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Vastu Tips: वास्तुशास्त्र के अनुसार सुबह के समय नहीं करना चाहिए ऐसे 3 काम, जीवन में पड़ता है दुर्भाग्य का साया

वास्तुशास्त्र में दिशाओं का महत्व

ज्योतिष डेस्क, अमर उजाला, नई दिल्ली
Published by: विनोद शुक्ला
Updated Thu, 10 Feb 2022 08:02 AM IST

सार

वास्तु के अनुसार अलग-अलग दिशाओं में रखी जाने वाली चीजें अपने आकार और स्वभाव की वजह से ऊर्जा पैदा करती है जो कि हमारे जीवन पर नकारात्मक या सकारात्मक प्रभाव डालती है।

वास्तुशास्त्र में दिशाओं का महत्व
– फोटो : अमर उजाला

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विस्तार

वास्तु शास्त्र के अनुसार जिन घरों में वास्तु के अनुरूप चीजें होती हैं वहां पर हमेशा ही सकारात्मक ऊर्जा का वास रहता है। वास्तु के अनुसार अलग-अलग दिशाओं में रखी जाने वाली चीजें अपने आकार और स्वभाव की वजह से ऊर्जा पैदा करती है जो कि हमारे जीवन पर नकारात्मक या सकारात्मक प्रभाव डालती है। वास्तु शास्त्र में कुछ नियम बनाए गए हैं जिसका पालन कर हम अपने जीवन से नकारात्मक ऊर्जा को दूर कर सकते हैं। ऐसे में आज हम आपको तीन कार्यों के बारे में बताने जा रहे हैं जिसे सुबह-सुबह करना वास्तु शास्त्र में वर्जित माना गया है। 

जूठे बर्तन

वास्तु शास्त्र के अनुसार किचन में ज्यादा देर तक जूठे बर्तन रखना अशुभ संकेत माना गया है। ऐसे अगर घर का कोई सदस्य सुबह सवेरे जूठे बर्तन को देखता है तो उस पर नकारात्मक ऊर्जा हावी हो जाती है। जिस कारण से उस व्यक्ति का पूरा दिन अच्छे से नहीं बीतता। इस तरह के वास्तु दोष को दूर करने के लिए रात में ही जूठे बर्तनों को धो दिया जाना चाहिए। मान्यता है कि रात भर रसोई घर में जूठे बर्तन छोड़ना जीवन में दरिद्रता लाता है। साथ ही अगर सुबह इन पर नजर पड़ जाये तो बने बनाए कार्य बिगड़ जाते हैं। 

परछाई

वास्तु के अनुसार सुबह-सुबह व्यक्ति को किसी की भी परछाई नहीं देखनी चाहिए। इसका नकारात्मक प्रभाव व्यक्ति के जीवन पर पड़ता है। यहां तक सुबह-सुबह स्वयं की परछाई देखना भी वास्तु में अच्छा नहीं माना जाता है। इससे जीवन में मानसिक तनाव बढ़ता है और नकारात्मकता बढ़ने लगती है। घर में कलह होने लगते हैं। इसके अलावा सुबह उठते ही आपकी नजर किसी जंगली जानवर की तस्वीर पर न पड़े। वास्तु शास्त्र में जंगली जानवर की तस्वीर को सुबह-सुबह देखना भी नकारात्मक माना गया है। 

आईना

वास्तु शास्त्र के अनुसार सुबह उठकर स्वयं का चेहरा नहीं देखना चाहिए। इससे व्यक्ति के जीवन में परेशानियां बढ़ती हैं। इस कारण वास्तु शास्त्र में शयन कक्ष में आईना नहीं लगाने की सलाह दी जाती है ताकि  सुबह उठते ही उस पर नजर न जाए। 

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