पिछले माह 24 फरवरी को अस्त हुए देवगुरु बृहस्पति 26 मार्च की सायं 6 बजकर 38 मिनट पर पूर्व में उदय हो रहे हैं। इनके उदय होने से पृथ्वी वासियों को भारी राहत मिलेगी। जिन लोगों की जन्म कुंडलियों में इनका गोचर शुभ भाव में है उनके लिए अच्छा संकेत है किंतु जिनके अशुभभाव में गोचर कर रहे हैं उनके लिए उतना अच्छा फलकारक नहीं रहेंगे। धनु और मीन राशि के स्वामी बृहस्पति को कर्क राशि में उच्च राशिगत तथा मकर राशि में नीच राशिगत संज्ञक माना गया है। इनके उदय होने का अन्य राशियों पर कैसा प्रभाव पड़ेगा इसका ज्योतिषीय विश्लेषण करते हैं।
मेष राशि
राशि से एकादश लाभ भाव में उदय हुए बृहस्पति आपके लिए किसी वरदान से कम नहीं है,आय के साधन तो बढ़ेंगे ही दिया गया धन भी वापस मिलने की उम्मीद। शिक्षा प्रतियोगिता में भी अच्छी सफलता मिलेगी। संतान के दायित्व की पूर्ति होगी। नवदंपत्ति के लिए संतान प्राप्ति एवं प्रादुर्भाव के भी योग। प्रेम संबंधी मामलों में भी प्रगाढ़ता आएगी। प्रेम विवाह भी करना चाह रहे हों तो उस दृष्टि से भी ग्रह गोचर अनुकूल रहेगा।
वृषभ राशि
राशि से दशम कर्म भाव में उदय हुए बृहस्पति का प्रभाव आपके लिए बेहतरीन सफलता दिलाएगा। इस अवधि के मध्य यदि आप नौकरी में स्थान परिवर्तन करना चाह रहे हों तो अवसर अनुकूल रहेगा। कोई भी बड़े से बड़ा कार्य आरंभ करना हो अथवा नए व्यापार का शुभारंभ करना हो तो उस दृष्टि से भी समय बेहतर है शासन सत्ता का पूर्ण सहयोग मिलेगा। केंद्र अथवा राज्य सरकार के विभागों में प्रतीक्षित कार्य संपन्न होंगे।
मिथुन राशि
राशि से नवम भाग्य भाव में गोचर करते हुए उदय बृहस्पति का प्रभाव आपको धर्म और अध्यात्म के प्रति गहरी रूचि बढ़ाएगा। धार्मिक ट्रस्टों तथा अनाथालय आदि में भी बढ़ चढ़कर हिस्सा लेंगे और दान पुण्य भी करेंगे। सामाजिक पद प्रतिष्ठा बढ़ेगी। आपके द्वारा लिए गए निर्णय और किए गए कार्यों की सराहना होगी। विद्यार्थियों एवं प्रतियोगिता में बैठने वाले छात्रों के लिए समय और अनुकूल रहेगा। संतान संबंधी चिंता दूर होगी।
कर्क राशि
राशि से अष्टम आयु भाव में गोचर गोचर करते हुए उदय बृहस्पति काफी उतार चढ़ाव ला सकते हैं। स्वास्थ्य संबंधी चिंता परेशान कर सकती है। आपके अपने ही लोग नीचा दिखाने की कोशिश करेंगे सावधान रहें। यद्यपि अपनी ऊर्जाशक्ति के बल पर कठिन परिस्थितियों पर भी आसानी से विजय प्राप्त कर लेंगे फिर भी षड्यंत्रकारी लोगों से सावधान रहना ही पड़ेगा। आर्थिक पक्ष मजबूत होगा। अचल संपत्ति से संबंधित विवाद हल होंगे।