स्पोर्ट्स डेस्क, अमर उजाला, नई दिल्ली
Published by: स्वप्निल शशांक
Updated Mon, 29 Nov 2021 02:39 AM IST
सार
भारतीय पहलवानों के राष्ट्रमंडल कुश्ती के खिताब बचाने पर संकट के बादल मंडराने लगे हैं। चार साल पहले दक्षिण अफ्रीका में हुई इस चैंपियनशिप में भारत ने 30 में से 25 स्वर्ण अपने नाम किए थे।
कुश्ती चैंपियनशिप
– फोटो : सोशल मीडिया
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विस्तार
भारतीय पहलवानों की राष्ट्रमंडल कुश्ती चैंपियनशिप में भागीदारी खतरे में पड़ गई है। जोहानिसबर्ग (दक्षिण अफ्रीका) में होने वाली इस चैंपियनशिप के लिए जिस फ्लाइट से पहलवानों को जाना था वह कोरोना के नए स्वरूप ओमिक्रॉन के अफ्रीकी देश में पाए जाने के चलते रद्द कर दी गई है।
इसके साथ ही भारतीय पहलवानों के राष्ट्रमंडल कुश्ती के खिताब बचाने पर संकट के बादल मंडराने लगे हैं। चार साल पहले दक्षिण अफ्रीका में हुई इस चैंपियनशिप में भारत ने 30 में से 25 स्वर्ण अपने नाम किए थे। इस बार भी 60 पहलवानों का दल इस चैंपियनशिप में उतरने की तैयारी में है।
60 भारतीय पहलवानों को है खेलना
भारतीय पहलवानों को टुकड़ो में एक दिसंबर से दोहा होकर जोहानिसबर्ग पहुंचना है, लेकिन कुश्ती संघ को सूचना मिली कि दोहा ने दक्षिण अफ्रीका की उड़ानों पर प्रतिबंध लगा दिया है। दुबई से जाने पर पहलवानों को नए सिरे से ट्रांजिट वीजा के लिए आवेदन करना होगा।
यूरोप होकर जोहानिसबर्ग पहुंचने की संभावनाएं कम हैं। हालांकि ओमिक्रान के सामने आने से पहले ही खेल मंत्रालय ने 60 पहलवानों के दौरे को हरी झंडी दे दी थी। 30 पहलवान सरकार के खर्च पर और 30 पहलवान निजी खर्च पर चैंपियनशिप के लिए चुने गए हैं।
टीम भेजने की कोशिश में कुश्ती संघ
कुश्ती संघ आने वाले दो दिनों में टीम को भेजने की कोशिश करेगा, लेकिन फ्लाइट नहीं मिलने की स्थिति में दौरा खटाई में पड़ जाएगा। चैंपियनशिप के जरिए दंगल गर्ल गीता चार साल बाद किसी अंतरराष्ट्रीय टूर्नामेंट में वापसी कर रही हैं। चार साल पहले गीता ने इसी चैंपियनशिप में 59 किलो में स्वर्ण जीता था।
बजरंग की पत्नी और गीता की बहन संगीता को भी इस चैंपियनशिप में जाना था, लेकिन उन्होंने अंतिम क्षणों में नाम वापस ले लिया। पिछली चैंपियनशिप में पुरुष पहलवानों ने फ्रीस्टाइल में नौ ग्रीको रोमन में आठ और महिला पहलवानों ने आठ स्वर्ण जीते थे।