एजेंसी, वाशिंगटन।
Published by: देव कश्यप
Updated Tue, 16 Nov 2021 12:30 AM IST
सार
इस डिजिटल संवाद को लेकर दोनों पक्षों को उम्मीद है कि जनवरी में बाइडन के राष्ट्रपति बनने के बाद से दो देशों के बीच पैदा हुई कटु रिश्ते कुछ कम होंगे।
चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग के साथ एक आभासी (वर्चुअल) बैठक में अमेरिकी राष्ट्रपति उनसे महाशक्ति संघर्ष को कम करने के लिए कह सकते हैं। अमेरिकी प्रशासन के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि बाइडन कह सकते हैं कि चीन को एक जिम्मेदार देश की तरह नियमों का पालन करना चाहिए। हालांकि अमेरिका को इस बैठक से बहुत अधिक उम्मीद नहीं है।
बाइडन द्वारा शुरू इस संवाद के भारतीय समयानुसार मंगलवार सुबह तक चलने की संभावना है। इस डिजिटल संवाद को लेकर दोनों पक्षों को उम्मीद है कि जनवरी में बाइडन के राष्ट्रपति बनने के बाद से दो देशों के बीच पैदा हुई कटु रिश्ते कुछ कम होंगे। दुनिया की दोनों बड़ी अर्थव्यवस्थाएं कोविड-19 महामारी की उत्पत्ति, बीजिंग के परमाणु शस्त्रागार के विस्तार और ताइवान पर बढ़ते चीनी दबाव पर असहमत हैं।
इस बैठक में इन मुद्दों पर भी चर्चा की संभावनाओं से इनकार नहीं किया जा सकता। इनके अलावा, अमेरिकी सहयोगियों के साथ आर्थिक जबरदस्ती और कथित मानवाधिकारों के हनन को लेकर भी अमेरिका की चिंताओं पर बातचीत हो सकती है। अधिकारी ने कहा, यह ऐसी बैठक नहीं है जिससे हम बहुत अधिक उम्मीदें रख सकें। फिर भी यदि कुछ मुद्दों पर तनाव कम होता है तो यह अच्छा होगा।
बड़ी घोषणा की संभावना बहुत कम
व्हाइट हाउस को बाइडन-शी बैठक को लेकर बहुत अधिक उम्मीदें नहीं हैं। अधिकारियों ने कहा, इस ऑनलाइन बैठक को लेकर न तो हमें ज्यादा उम्मीदें नहीं हैं और ही किसी बड़ी घोषणा की संभावना दिख रही है। उन्होंने कहा कि दोनों देशों द्वारा साझा बयान जारी करने की भी कोई योजना नहीं है। व्हाइट हाउस की प्रेस सचिव जेन साकी ने कहा, मुझे लगता है कि उनके रिश्ते का इतिहास, उनके साथ समय बिताने के बाद, उन्हें काफी स्पष्टवादी होने की अनुमति देता है और यह आगे भी जारी रहेगा।
विस्तार
चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग के साथ एक आभासी (वर्चुअल) बैठक में अमेरिकी राष्ट्रपति उनसे महाशक्ति संघर्ष को कम करने के लिए कह सकते हैं। अमेरिकी प्रशासन के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि बाइडन कह सकते हैं कि चीन को एक जिम्मेदार देश की तरह नियमों का पालन करना चाहिए। हालांकि अमेरिका को इस बैठक से बहुत अधिक उम्मीद नहीं है।
बाइडन द्वारा शुरू इस संवाद के भारतीय समयानुसार मंगलवार सुबह तक चलने की संभावना है। इस डिजिटल संवाद को लेकर दोनों पक्षों को उम्मीद है कि जनवरी में बाइडन के राष्ट्रपति बनने के बाद से दो देशों के बीच पैदा हुई कटु रिश्ते कुछ कम होंगे। दुनिया की दोनों बड़ी अर्थव्यवस्थाएं कोविड-19 महामारी की उत्पत्ति, बीजिंग के परमाणु शस्त्रागार के विस्तार और ताइवान पर बढ़ते चीनी दबाव पर असहमत हैं।
इस बैठक में इन मुद्दों पर भी चर्चा की संभावनाओं से इनकार नहीं किया जा सकता। इनके अलावा, अमेरिकी सहयोगियों के साथ आर्थिक जबरदस्ती और कथित मानवाधिकारों के हनन को लेकर भी अमेरिका की चिंताओं पर बातचीत हो सकती है। अधिकारी ने कहा, यह ऐसी बैठक नहीं है जिससे हम बहुत अधिक उम्मीदें रख सकें। फिर भी यदि कुछ मुद्दों पर तनाव कम होता है तो यह अच्छा होगा।
बड़ी घोषणा की संभावना बहुत कम
व्हाइट हाउस को बाइडन-शी बैठक को लेकर बहुत अधिक उम्मीदें नहीं हैं। अधिकारियों ने कहा, इस ऑनलाइन बैठक को लेकर न तो हमें ज्यादा उम्मीदें नहीं हैं और ही किसी बड़ी घोषणा की संभावना दिख रही है। उन्होंने कहा कि दोनों देशों द्वारा साझा बयान जारी करने की भी कोई योजना नहीं है। व्हाइट हाउस की प्रेस सचिव जेन साकी ने कहा, मुझे लगता है कि उनके रिश्ते का इतिहास, उनके साथ समय बिताने के बाद, उन्हें काफी स्पष्टवादी होने की अनुमति देता है और यह आगे भी जारी रहेगा।
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