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काम की खबर: गोल्ड लोन ट्रांसफर से बचा सकते हैं ब्याज, हो सकता है बड़ा फायदा

काम की खबर: गोल्ड लोन ट्रांसफर से बचा सकते हैं ब्याज, हो सकता है बड़ा फायदा

सार

अगर आप मौजूदा बैंक या एनबीएफसी में गोल्ड लोन पर ज्यादा ब्याज दे रहे हैं तो इसे अन्य बैंक में शिफ्ट कर कैसे बचत कर सकते हैं, पूरा गणित बताती प्रमोद तिवारी की रिपोर्ट

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आरबीआई का रेपो रेट दो दशक में सबसे कम होने से बैंक भी विभिन्न खुदरा कर्ज पर कम ब्याज वसूल रहे हैं। जरूरत पर सबसे आसानी से मिलने वाले गोल्ड लोन की ब्याज दरें भी कम हुई हैं। 

सुरक्षा और ज्यादा राशि के लिए भी अपनाएं विकल्प
कमोडिटी मामलों के विशेषज्ञ अजय केडिया का कहना है कि गोल्ड लोन पर बैंकों व एनबीएफसी का जोखिम काफी कम होता है, फिर भी वे ज्यादा ब्याज वसूलती हैं। बैंक हो या एनबीएफसी, आपके सोने के बाजार मूल्य का 65-75 फीसदी राशि ही लोन के रूप में देते हैं।

इस लिहाज से आप न सिर्फ ब्याज घटाने के लिए, बल्कि  सोने पर ज्यादा कर्ज राशि पाने के लिए भी गोल्ड लोन ट्रांसफर पर विचार कर सकते हैं। लोन देने वाली कंपनी ज्यादा भरोसेमंद नहीं है, तो किसी बैंक या मजबूत एनबीएफसी में ट्रांसफर करा सकते हैं। इससे पुनर्भुगतान में राहत मिल सकती है।

शुल्क और शर्तों की जानकारी जरूरी
बाजार में मौजूद सभी बैंक और एनबीएफसी गोल्ड लोन ट्रांसफर कराने की सुविधा नहीं देते हैं। ग्राहक को इस पर विचार करने से पहले अपने मौजूदा कर्जदाता से इसकी जानकारी लेना जरूरी है। लोन ट्रांसफर के समय कई बैंक प्रोसेसिंग शुल्क और प्रीपेमेंट चार्ज भी लेते हैं। यह कर्ज की कुल राशि का करीब एक फीसदी हो सकता है। कई बैंक दस्तावेजीकरण में लगने वाला खर्च भी वसूलते हैं।

पांच चरणों में जानें पूरी प्रक्रिया

  • सबसे पहले मौजूदा बैंक या एनबीएफसी में गिरवी रखे सोने के कागजात लेकर पसंदीदा बैंक के पास जमा कराएं और गोल्ड लोन ट्रांसफर की बात करें।
  • नया बैंक आपके कर्ज की शेष राशि और ब्याज का मूल्यांकन कर मिलने वाले फायदे का विवरण देगा। अगर आपको लाभ मिल रहा है, तो आगे बढ़ें।
  • इसके बाद पुराने कर्जदाता बैंक या एनबीएफसी को शेष ब्याज का भुगतान करेगा, जिसकी जानकारी ग्राहक को भी दी जाएगी।
  • ब्याज का भुगतान करते ही आपका गोल्ड लोन नए बैंक में ट्रांसफर कर दिया जाएगा, जहां ब्याज दर कम रहेगी।
  • नया बैंक आपसे कुछ दस्तावेज लेकर केवाईसी पूरी करेगा।

सबसे कम ब्याज पर गोल्ड लोन देने वाले बैंक

  • एसबीआई                  7.3-7.5%
  • एचडीएफसी बैंक          9.5-15%
  • केनरा बैंक                  7.35%
  • आईसीआईसीआई बैंक  9-19.76%
  • आंध्रा बैंक                   7.60-9.10%
  • एक्सिस बैंक               13.5-16.95%
  • पीएनबी                      8.75-9%
  • इंडसइंड बैंक                 11.5-16%

तीन खास बातें

  • गोल्ड लोन से भी आपके सिबिल पर असर पड़ता है, इसलिए समय पर कर्ज चुकाने का ध्यान रखें।
  • गोल्ड लोन ट्रांसफर के लिए कम से कम 6 ईएमआई का भुगतान होना जरूरी हैै।
  • आपका सोना या आभूषण 18 से 22 कैरेट के बीच में होना चाहिए।

लोन की अवधि कम तो ज्यादा फायदा नहीं
गोल्ड लोन अमूमन एक साल की अवधि का होता है। छह महीने बाद ट्रांसफर कराते भी हैं, तो ब्याज पर ज्यादा लाभ नहीं मिलेगा। अगर कोई बैंक आपके सोने पर ज्यादा राशि का कर्ज दे रहा, तो इससे फायदा हो सकता है। कर्ज की अवधि लंबी है, तो भी ट्रांसफर कराने से बड़े अंतर की उम्मीद की जा सकती है।
-आदिल शेटृटी, सीईओ, बैंकबाजार

विस्तार

आरबीआई का रेपो रेट दो दशक में सबसे कम होने से बैंक भी विभिन्न खुदरा कर्ज पर कम ब्याज वसूल रहे हैं। जरूरत पर सबसे आसानी से मिलने वाले गोल्ड लोन की ब्याज दरें भी कम हुई हैं। 

सुरक्षा और ज्यादा राशि के लिए भी अपनाएं विकल्प

कमोडिटी मामलों के विशेषज्ञ अजय केडिया का कहना है कि गोल्ड लोन पर बैंकों व एनबीएफसी का जोखिम काफी कम होता है, फिर भी वे ज्यादा ब्याज वसूलती हैं। बैंक हो या एनबीएफसी, आपके सोने के बाजार मूल्य का 65-75 फीसदी राशि ही लोन के रूप में देते हैं।

इस लिहाज से आप न सिर्फ ब्याज घटाने के लिए, बल्कि  सोने पर ज्यादा कर्ज राशि पाने के लिए भी गोल्ड लोन ट्रांसफर पर विचार कर सकते हैं। लोन देने वाली कंपनी ज्यादा भरोसेमंद नहीं है, तो किसी बैंक या मजबूत एनबीएफसी में ट्रांसफर करा सकते हैं। इससे पुनर्भुगतान में राहत मिल सकती है।

शुल्क और शर्तों की जानकारी जरूरी

बाजार में मौजूद सभी बैंक और एनबीएफसी गोल्ड लोन ट्रांसफर कराने की सुविधा नहीं देते हैं। ग्राहक को इस पर विचार करने से पहले अपने मौजूदा कर्जदाता से इसकी जानकारी लेना जरूरी है। लोन ट्रांसफर के समय कई बैंक प्रोसेसिंग शुल्क और प्रीपेमेंट चार्ज भी लेते हैं। यह कर्ज की कुल राशि का करीब एक फीसदी हो सकता है। कई बैंक दस्तावेजीकरण में लगने वाला खर्च भी वसूलते हैं।

पांच चरणों में जानें पूरी प्रक्रिया

  • सबसे पहले मौजूदा बैंक या एनबीएफसी में गिरवी रखे सोने के कागजात लेकर पसंदीदा बैंक के पास जमा कराएं और गोल्ड लोन ट्रांसफर की बात करें।
  • नया बैंक आपके कर्ज की शेष राशि और ब्याज का मूल्यांकन कर मिलने वाले फायदे का विवरण देगा। अगर आपको लाभ मिल रहा है, तो आगे बढ़ें।
  • इसके बाद पुराने कर्जदाता बैंक या एनबीएफसी को शेष ब्याज का भुगतान करेगा, जिसकी जानकारी ग्राहक को भी दी जाएगी।
  • ब्याज का भुगतान करते ही आपका गोल्ड लोन नए बैंक में ट्रांसफर कर दिया जाएगा, जहां ब्याज दर कम रहेगी।
  • नया बैंक आपसे कुछ दस्तावेज लेकर केवाईसी पूरी करेगा।


सबसे कम ब्याज पर गोल्ड लोन देने वाले बैंक

  • एसबीआई                  7.3-7.5%
  • एचडीएफसी बैंक          9.5-15%
  • केनरा बैंक                  7.35%
  • आईसीआईसीआई बैंक  9-19.76%
  • आंध्रा बैंक                   7.60-9.10%
  • एक्सिस बैंक               13.5-16.95%
  • पीएनबी                      8.75-9%
  • इंडसइंड बैंक                 11.5-16%

तीन खास बातें

  • गोल्ड लोन से भी आपके सिबिल पर असर पड़ता है, इसलिए समय पर कर्ज चुकाने का ध्यान रखें।
  • गोल्ड लोन ट्रांसफर के लिए कम से कम 6 ईएमआई का भुगतान होना जरूरी हैै।
  • आपका सोना या आभूषण 18 से 22 कैरेट के बीच में होना चाहिए।

लोन की अवधि कम तो ज्यादा फायदा नहीं

गोल्ड लोन अमूमन एक साल की अवधि का होता है। छह महीने बाद ट्रांसफर कराते भी हैं, तो ब्याज पर ज्यादा लाभ नहीं मिलेगा। अगर कोई बैंक आपके सोने पर ज्यादा राशि का कर्ज दे रहा, तो इससे फायदा हो सकता है। कर्ज की अवधि लंबी है, तो भी ट्रांसफर कराने से बड़े अंतर की उम्मीद की जा सकती है।

-आदिल शेटृटी, सीईओ, बैंकबाजार

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