बिजनेस डेस्क, अमर उजाला, नई दिल्ली
Published by: Kuldeep Singh
Updated Tue, 23 Nov 2021 03:01 AM IST
सार
रिजर्व बैंक ने सोमवार को जारी चेतावनी में कहा, बैंकिंग नियमन एक्ट 1949 में संशोधन के बाद 29 सितंबर, 2020 से बैंकिंग नियमन एक्ट 2020 प्रभाव में आ चुका है। बावजूद इसके कई सहकारी समितियों के नाम में बैंक शब्द के इस्तेमाल की शिकायतें मिली हैं। ये सहकारी समितियां बैंकिंग नियमन एक्ट 1949 की धारा 7 का उल्लंघन कर रही हैं।
भारतीय रिजर्व बैंक
– फोटो : सोशल मीडिया
ख़बर सुनें
विस्तार
ग्राहकों से पैसा जमा कराने का भी अधिकार नहीं
रिजर्व बैंक ने सोमवार को जारी चेतावनी में कहा, बैंकिंग नियमन एक्ट 1949 में संशोधन के बाद 29 सितंबर, 2020 से बैंकिंग नियमन एक्ट 2020 प्रभाव में आ चुका है। बावजूद इसके कई सहकारी समितियों के नाम में बैंक शब्द के इस्तेमाल की शिकायतें मिली हैं। ये सहकारी समितियां बैंकिंग नियमन एक्ट 1949 की धारा 7 का उल्लंघन कर रही हैं।
इतना ही नहीं कुछ सहकारी समितियां गैर सदस्यों अथवा आम ग्राहकों से भी पैसे जमा करा रही हैं, जो बैंकों के कारोबार में सेंधमारी है और बैंकिंग नियमों का स्पष्ट उल्लंघन भी। इन समितियों को आरबीआई की ओर से कभी भी बैंक का कारोबार करने की अनुमति नहीं मिली है।
इनमें जमा पैसों पर डिपॉजिट इंश्योरेंस एंड क्रेडिट गारंटी कॉरपोरेशन की ओर से 5 लाख रुपये तक बीमा भी नहीं दिया जाता। इसका मतलब है कि यहां जमाकर्ताओं का पैसा पूरी तरह असुरक्षित है। ऐसे ग्राहकों को भी सचेत करते हुए आरबीआई ने कहा है कि वे जितना जल्दी हो सके अपना पैसा निकाल लें।