वर्ल्ड डेस्क, अमर उजाला, वाशिंगटन
Published by: Amit Mandal
Updated Tue, 22 Mar 2022 05:41 PM IST
सार
बाइडन ने सोमवार को सीईओ के एक व्यापार गोलमेज सम्मेलन में बताया कि अमेरिका के सहयोगियों ने रूस के खिलाफ सख्त रुख दियाखा, लेकिन भारत का रुख इस दौरान अस्थिर रहा।
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विस्तार
नाटो को विभाजत नहीं कर सके पुतिन
बाइडन ने सोमवार को सीईओ के एक व्यापार गोलमेज सम्मेलन में कहा कि एक बात का मुझे विश्वास है, पुतिन को अच्छी तरह से जानने के साथ-साथ मुझे लगता है वह नाटो को विभाजित करने का भरोसा कर रहा थे। उन्होंने कभी नहीं सोचा था कि नाटो पूरी तरह से शांत और एकजुट रहेगा। मैं आपको आश्वस्त कर सकता हूं कि नाटो अपने पूरे इतिहास में आज की तुलना में कभी भी इतना मजबूत या अधिक एकजुट नहीं हुआ है। और ऐस पुतिन की वजह से हुआ है।
जापान और ऑस्ट्रेलिया रह मजबूत
लेकिन उनकी आक्रामकता के जवाब में हमने पूरे नाटो और प्रशांत क्षेत्र में एक संयुक्त मोर्चा बनाया है। क्वाड है, जिसमें भारत के कुछ हद तक अस्थिर होने के संभावित अपवाद हैं। लेकिन जापान और ऑस्ट्रेलिया पुतिन की आक्रामकता से निपटने के मामले में बेहद मजबूत है। पिछले महीने बाइडन ने कहा था कि भारत और अमेरिका यूक्रेन के खिलाफ रूसी आक्रामकता के मुद्दे पर अपने मतभेदों को सुलझाने की कोशिश कर रहे हैं।
आपको कदमों से फर्क पड़ा है
बाइडन ने कहा, हमने पूरे नाटो और प्रशांत क्षेत्र में एक संयुक्त मोर्चा दिखाया और आपने रूसी अर्थव्यवस्था पर प्रतिबंध लगाने और उसके कीमत चुकाने के लिए बहुत कुछ किया। अब हम देख रहे हैं कि यह मायने रखता है। यह वास्तव में महत्वपूर्ण था कि आप सभी ने क्या किया है। आप में से हर एक ने नहीं, लेकिन मैं ऐसा नहीं कह रहा कि आप सभी को करना ही होगा। लेकिन आप में से जिन्होंने भी कदम उठाया, उससे बहुत फर्क पड़ा।
बाइडन सीईओ गोलमेज सम्मेलन में शामिल हुए। ट्रेजरी सचिव जेनेट येलेन, वाणिज्य सचिव जीना रायमोंडो, राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार जेक सुलिवन, वरिष्ठ सलाहकार सेड्रिक रिचमंड और राष्ट्रीय आर्थिक परिषद के निदेशक ब्रायन डीज ने ऊर्जा, भोजन और विनिर्माण सहित कई उद्योगों में प्रमुख कंपनियों के 16 सीईओ के साथ मुलाकात की। इन्हें यूक्रेन के खिलाफ पुतिन के अकारण और अनुचित युद्ध पर ताजा घटनाक्रम की जानकारी दी गई।
