वर्ल्ड डेस्क, अमर उजाला, वाशिंगटन
Published by: Jeet Kumar
Updated Fri, 10 Sep 2021 04:50 AM IST
सार
फेसबुक पर पहले से ही प्राइवेसी को लेकर सवाल उठते हैं। इसको लेकर कई देशों ने फेसबुक पर लाखों करोड़ों के जुर्माने भी लगाए, अब मार्क जुकरबर्ग ने चश्मा बनाकर एक नई बहस छेड़ दी है।
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विस्तार
फेसबुक के नए कैमरे के चश्मे के बारे में पहली बात ये है कि इन्हें रे-बैन स्टोरीज कहा जाता है। ऐसा इसलिए है क्योंकि ये चश्मा बनाने वाली कंपनी रे-बैन की साझेदारी में बना है।
सीधा पोस्ट फेसबुक पर नहीं दिखता
मीडिया रिपोर्ट की मानें तो अगर आप फेसबुक के इस कैमरे वाले चश्मे को पहनने हैं तो ये सीधे-सीधे आपके फेसबुक या इंस्टाग्राम पर पोस्ट नहीं करते हैं। ये सिर्फ बड़े वीडियो और तस्वीर लेते हैं और इन सभी को आपके फोन (आईओएस या एंड्रॉइड) पर एक विशेष ऐप के जरिए भेजते हैं जो ब्लूटूथ पर चश्मे से जुड़ता है। इस ऐप का नाम क्यू है।
व्यू ऐप को लॉग इन करने के लिए एक फेसबुक अकाउंट की आवश्यकता होती है, लेकिन सामग्री सीधे आपके खाते से कनेक्ट नहीं होती है। वीडियो और तस्वीरें आपके फोन में ही रहती हैं, यह फेसबुक के सर्वर या क्लाउड में नहीं भेजी जाती हैं। तो आप कह सकते हैं फेसबुक आपको नहीं देख रहा।
लोगों को नहीं फेसबुक पर विश्वास
एक लेख में फेसबुक पर सवाल उठाते हुए लिखा गया है कि क्या आपका महत्वपूर्ण डेटा यानी फोटो व वीडियो मार्क जुकरबर्ग की आंखों से सुरक्षित हो सकते हैं। लेकिन यहां वास्तविक खतरा आपके डेटा का नहीं बल्कि तथ्य है कि आप एक जासूसी चश्मा पहनकर घूम रहे हैं। आपको पता नहीं है कि आपका वीडियो या फोटो लिया जा रहा है।
लेख में आगे लिखा कि बिना सामने वाले की जानकारी के आप किसी का फोटो कैसे खींच सकते हैं, ये बेहद डरावना है और इससे काफी नुकसान हो सकता है। इससे आपको कोई धमका, ब्लैकमेल करने या शर्मिंदा करने के काम कर सकता है।
क्या है फेसबुक के चश्मे की खासियत
- चश्मे की दोनों डंडों पर कैमरा लगा है, जो पांच मेगापिक्सल का है। इससे लिए गए फोटो और वीडियो वास्तव में बहुत अच्छे लगते हैं।
- चश्मे पर लगा कैमरा कम रोशनी में अच्छी तस्वीरें लेने में सक्षम है और वीडियो लेते समय कम हिलता है।
- चश्मे के डंडों पर स्पीकर हैं, वे शरीर के स्पर्श से सक्रिय होते हैं जो उपयोग करने में आसान हैं।
- सामान्य चश्मे से थोड़ा भारी है और चार्ज होने में लगभग 6 घंटे का समय लेता है।
बहरहाल, फेसबुक के इस चश्मे से एक बार फिर निजता के उल्लंघन का डर पैदा हो गया है। प्राइवेसी के मसले पर कंपनी ने अब तक चुप्पी साध रखी है। कोई भी इस चश्मे को पहनकर बिना इजाजत या जानकारी दिए किसी का भी फोटो या वीडियो ले सकता है। इसे अपने कैमरे पर स्टोर कर सकता है और जब चाहे फेसबुक पर पोस्ट कर सकता है।