वर्ल्ड डेस्क, अमर उजाला, काबुल
Published by: अभिषेक दीक्षित
Updated Sat, 01 Jan 2022 10:10 PM IST
सार
रिपोर्ट के अनुसार, पाकिस्तानी सेना अफगानिस्तान के निमरोज प्रांत स्थित चाहर बुर्जक जिले में सैन्य चौकी के निर्माण का प्रयास कर रही थी। पाकिस्तान ने इस मुद्दे पर फिलहाल कोई टिप्पणी नहीं की है।
अफगानिस्तान के निमरोज प्रांत में पाकिस्तानी सेना और तालिबान आमने सामने आ गए हैं। बताया जा रहा है कि यहां पाकिस्तान की ओर से कराई जा रही बाड़बंदी और सैन्य चौकी निर्माण को तालिबान के स्थानीय सहयोगियों ने रोक दिया है। आसपास रहने वाले प्रत्यक्षदर्शियों ने बताया कि पाकिस्तानी सेना अफगानिस्तान सीमा में आ गई थी। सीमा के अंदर करीब 15 किलोमीटर पर यह निर्माण कार्य करवाया जा रहा था।
रिपोर्ट के अनुसार, पाकिस्तानी सेना अफगानिस्तान के निमरोज प्रांत स्थित चाहर बुर्जक जिले में सैन्य चौकी के निर्माण का प्रयास कर रही थी। पाकिस्तान ने इस मुद्दे पर फिलहाल कोई टिप्पणी नहीं की है। दरअसल, एक हफ्ते पहले ही तालिबान के खुफिया महानिदेशालय के प्रांतीय प्रमुख ने पाकिस्तानी सेना द्वारा पूर्वी नांगरहार में की जा रही बाड़बंदी को रोक दिया था। दोनों देश करीब 2,400 किलोमीटर लंबी सीमा साझा करते हैं, जिसे लेकर अक्सर विवाद होते रहते हैं।
इससे पहले पाकितान और तहरीक-ए-तालिबान (पाकिस्तान) के बीच भी सब कुछ ठीक नहीं चल रहा है। टीटीपी ने शुक्रवार को पाकिस्तानी सेना के चार जवानों को मौत के घाट उतार दिया था। आतंकियों ने यह हमला उत्तरी वजीरिस्तान के मीर अली कस्बे में किया था। पाकिस्तानी सेना ने बयान जारी कर बताया था कि सुरक्षाबल इसी कस्बे में आतंकियों को ढूंढने के लिए अभियान चला रहे थे। इस दौरान एक आतंकी को हथियारों के साथ गिरफ्तार भी किया गया, हालांकि अचानक ही जवानों का सामना बंदूकधारी लड़ाकों से हो गया और मुठभेड़ में पाकिस्तानी सेना के चार जवान मारे गए।
दरअसल, तहरीक-ए-तालिबान पाकिस्तान (टीटीपी) और पाकिस्तान सरकार ने नवंबर में ही एक महीने के सीजफायर का एलान किया था। पाकिस्तान सरकार ने इस दौरान टीटीपी के आतंकियों को हथियार डालने के लिए मनाने की कोशिश की थी। साथ ही इस संगठन के लड़ाकों को छोड़ने से जुड़े वादे भी किए। हालांकि, इमरान सरकार की ओर से पुख्ता कदम न उठाए जाने के बाद टीटीपी ने सीजफायर तोड़ दिया और पाकिस्तानी जवानों को फिर से मार गिराना शुरू किया है।
विस्तार
अफगानिस्तान के निमरोज प्रांत में पाकिस्तानी सेना और तालिबान आमने सामने आ गए हैं। बताया जा रहा है कि यहां पाकिस्तान की ओर से कराई जा रही बाड़बंदी और सैन्य चौकी निर्माण को तालिबान के स्थानीय सहयोगियों ने रोक दिया है। आसपास रहने वाले प्रत्यक्षदर्शियों ने बताया कि पाकिस्तानी सेना अफगानिस्तान सीमा में आ गई थी। सीमा के अंदर करीब 15 किलोमीटर पर यह निर्माण कार्य करवाया जा रहा था।
रिपोर्ट के अनुसार, पाकिस्तानी सेना अफगानिस्तान के निमरोज प्रांत स्थित चाहर बुर्जक जिले में सैन्य चौकी के निर्माण का प्रयास कर रही थी। पाकिस्तान ने इस मुद्दे पर फिलहाल कोई टिप्पणी नहीं की है। दरअसल, एक हफ्ते पहले ही तालिबान के खुफिया महानिदेशालय के प्रांतीय प्रमुख ने पाकिस्तानी सेना द्वारा पूर्वी नांगरहार में की जा रही बाड़बंदी को रोक दिया था। दोनों देश करीब 2,400 किलोमीटर लंबी सीमा साझा करते हैं, जिसे लेकर अक्सर विवाद होते रहते हैं।
इससे पहले पाकितान और तहरीक-ए-तालिबान (पाकिस्तान) के बीच भी सब कुछ ठीक नहीं चल रहा है। टीटीपी ने शुक्रवार को पाकिस्तानी सेना के चार जवानों को मौत के घाट उतार दिया था। आतंकियों ने यह हमला उत्तरी वजीरिस्तान के मीर अली कस्बे में किया था। पाकिस्तानी सेना ने बयान जारी कर बताया था कि सुरक्षाबल इसी कस्बे में आतंकियों को ढूंढने के लिए अभियान चला रहे थे। इस दौरान एक आतंकी को हथियारों के साथ गिरफ्तार भी किया गया, हालांकि अचानक ही जवानों का सामना बंदूकधारी लड़ाकों से हो गया और मुठभेड़ में पाकिस्तानी सेना के चार जवान मारे गए।
दरअसल, तहरीक-ए-तालिबान पाकिस्तान (टीटीपी) और पाकिस्तान सरकार ने नवंबर में ही एक महीने के सीजफायर का एलान किया था। पाकिस्तान सरकार ने इस दौरान टीटीपी के आतंकियों को हथियार डालने के लिए मनाने की कोशिश की थी। साथ ही इस संगठन के लड़ाकों को छोड़ने से जुड़े वादे भी किए। हालांकि, इमरान सरकार की ओर से पुख्ता कदम न उठाए जाने के बाद टीटीपी ने सीजफायर तोड़ दिया और पाकिस्तानी जवानों को फिर से मार गिराना शुरू किया है।
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