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अफगानिस्तान: तालिबान ने महिलाओं के खेलने पर लगाया प्रतिबंध, एथलेटिक खेलों पर लगी रोक

एजेंसी, काबुल।
Published by: Jeet Kumar
Updated Fri, 07 Jan 2022 03:05 AM IST

सार

तालिबान ने खेल गतिविधियों में महिलाओं के लिए पहले ही अलग स्थान बनाए थे लेकिन अब इसमें और भी बदलाव कर दिए गए हैं। अब कोच भी पुरुष के बजाय एक महिला है।

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अफगानिस्तान पर तालिबान के कब्जे के बाद महिलाओं को सबसे ज्यादा प्रतिबंधात्मक कार्रवाई का शिकार होना पड़ा है। ताजा मामले में काबुल के कई स्पोर्ट्स क्लब के मालिकों ने कहा है कि तालिबान ने महिलाओं के लिए एथलेटिक खेलों पर प्रतिबंध लगा दिया है। उन्होंने बताया कि वे (इस्लामी अमीरात) महिलाओं को खेलों की अनुमति नहीं देते हैं। 

हालांकि खेल गतिविधियों में महिलाओं के लिए पहले ही अलग स्थान बनाए गए थे लेकिन अब इसमें और भी बदलाव कर दिए गए हैं। अब कोच भी पुरुष के बजाय एक महिला है। एक स्पोर्ट्स क्लब के प्रमुख हाफिजुल्लाह अबसी ने टोलो न्यूज को बताया कि कम से कम महिलाओं को अभ्यास करने की अनुमति दी जानी चाहिए।

अबसी के अलावा ताइक्वांडो और पर्वतारोहण खेलों की कोच ताहिरा सुल्तानी ने कहा कि तालिबान के सत्ता में आने के बाद से मुझे मेरे खेल का अभ्यास करने की भी अनुमति नहीं मिली। मैंने प्रशिक्षण के लिए खेलों के कई क्लबों में बात की, लेकिन उन्होंने कहा कि अब क्लबों में महिला वर्ग के स्थान को बंद कर दिया है। ताहिरा सुल्तानी ने पिछले आठ सालों में राष्ट्रीय स्तर के साथ-साथ विदेशों में भी कई पुरस्कार हासिल किए हैं।

विश्व में अफगानी झंडा बुलंद करना चाहती थी : अरिजो
अफगानिस्तान में राष्ट्रीय जुजुत्सु टीम की सदस्य अरिजो अहमदी ने बताया कि मेरी बहुत सारी इच्छाएं और महत्वाकांक्षाएं रही हैं। मैं विश्व स्तर पर अफगानिस्तान का झंडा सबसे ऊंचा उठाना चाहती थी, लेकिन अब नहीं पता क्या होगा? 

कुछ शर्तों पर दी जाएगी अनुमति : तालिबान
इस्लामी अमीरात (तालिबान शासन) ने आलोचनाओं का खंडन करते हुए कहा कि इस्लामी मूल्यों और संस्कृति पर आधारित महिलाओं को खेल की अनुमति दी जाएगी।

शारीरिक शिक्षा व राष्ट्रीय ओलंपिक समिति के प्रवक्ता दाद मोहम्मद नवा ने कहा कि हम सभी पहलुओं में इस्लामी अमीरात की नीति का पालन करेंगे। हमारी संस्कृति में महिलाओं को जो भी अनुमति है, हम महिलाओं को उसकी इजाजत देंगे।

विस्तार

अफगानिस्तान पर तालिबान के कब्जे के बाद महिलाओं को सबसे ज्यादा प्रतिबंधात्मक कार्रवाई का शिकार होना पड़ा है। ताजा मामले में काबुल के कई स्पोर्ट्स क्लब के मालिकों ने कहा है कि तालिबान ने महिलाओं के लिए एथलेटिक खेलों पर प्रतिबंध लगा दिया है। उन्होंने बताया कि वे (इस्लामी अमीरात) महिलाओं को खेलों की अनुमति नहीं देते हैं। 

हालांकि खेल गतिविधियों में महिलाओं के लिए पहले ही अलग स्थान बनाए गए थे लेकिन अब इसमें और भी बदलाव कर दिए गए हैं। अब कोच भी पुरुष के बजाय एक महिला है। एक स्पोर्ट्स क्लब के प्रमुख हाफिजुल्लाह अबसी ने टोलो न्यूज को बताया कि कम से कम महिलाओं को अभ्यास करने की अनुमति दी जानी चाहिए।

अबसी के अलावा ताइक्वांडो और पर्वतारोहण खेलों की कोच ताहिरा सुल्तानी ने कहा कि तालिबान के सत्ता में आने के बाद से मुझे मेरे खेल का अभ्यास करने की भी अनुमति नहीं मिली। मैंने प्रशिक्षण के लिए खेलों के कई क्लबों में बात की, लेकिन उन्होंने कहा कि अब क्लबों में महिला वर्ग के स्थान को बंद कर दिया है। ताहिरा सुल्तानी ने पिछले आठ सालों में राष्ट्रीय स्तर के साथ-साथ विदेशों में भी कई पुरस्कार हासिल किए हैं।

विश्व में अफगानी झंडा बुलंद करना चाहती थी : अरिजो

अफगानिस्तान में राष्ट्रीय जुजुत्सु टीम की सदस्य अरिजो अहमदी ने बताया कि मेरी बहुत सारी इच्छाएं और महत्वाकांक्षाएं रही हैं। मैं विश्व स्तर पर अफगानिस्तान का झंडा सबसे ऊंचा उठाना चाहती थी, लेकिन अब नहीं पता क्या होगा? 

कुछ शर्तों पर दी जाएगी अनुमति : तालिबान

इस्लामी अमीरात (तालिबान शासन) ने आलोचनाओं का खंडन करते हुए कहा कि इस्लामी मूल्यों और संस्कृति पर आधारित महिलाओं को खेल की अनुमति दी जाएगी।

शारीरिक शिक्षा व राष्ट्रीय ओलंपिक समिति के प्रवक्ता दाद मोहम्मद नवा ने कहा कि हम सभी पहलुओं में इस्लामी अमीरात की नीति का पालन करेंगे। हमारी संस्कृति में महिलाओं को जो भी अनुमति है, हम महिलाओं को उसकी इजाजत देंगे।

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