सार
लुटेरे नकद और गहने लूटकर एक एसयूवी में भाग गए। ये पूरी घटना चार या पांच मिनट में हुई।
कैश लूटकर भागे लुटेरे
– फोटो : pixabay
पुणे में बैंक ऑफ महाराष्ट्र की एक शाखा से गुरुवार को दिनदहाड़े पांच हथियारबंद लुटेरों ने 1.80 करोड़ रुपये नकद और सोने के गहने लूट लिए। एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने बताया कि घटना शिरूर तहसील के पिंपरखेड़ में हुई।
पांच लुटेरों ने दिया अंजाम
पुणे ग्रामीण के पुलिस अधीक्षक अभिनव देशमुख ने कहा कि दोपहर करीब 1.30 बजे जब बैंक में कुछ ही ग्राहक थे, मास्क पहने चार लुटेरे बैंक में घुस गए। इनमें से एक बाहर ही पहरा दे रहा था। उन्होंने बैंक मैनेजर और कैशियर को बंदूकों से धमकाया और लॉकरों से नकदी और सोने के गहने सौंपने को कहा।
चार से पांच मिनट में दिया अंजाम
एसपी ने कहा कि चूंकि सभी लुटेरे बंदूक लिए हुए थे, मैनेजर और कैशियर ने जैसा कहा था वैसा ही किया। लुटेरे 1.50 करोड़ रुपये के सोने के गहने और 33 लाख रुपये नकद लूटकर एक एसयूवी में भाग गए। देशमुख ने कहा कि पूरी घटना चार या पांच मिनट में हुई।
उन्होंने कहा कि पिंपराखेड़ एक सुदूर गांव है, इसलिए लुटेरों ने वहां हमला करने का फैसला किया होगा। उन्होंने पहले भी रेकी की होगी। एसपी ने कहा कि वहां कोई सुरक्षा गार्ड नहीं था क्योंकि यह एक छोटी शाखा है। इसमें एक सुरक्षा अलार्म सिस्टम है लेकिन मैनेजर या कैशियर ने इसे नहीं दबाया क्योंकि वे डर गए थे।
विस्तार
पुणे में बैंक ऑफ महाराष्ट्र की एक शाखा से गुरुवार को दिनदहाड़े पांच हथियारबंद लुटेरों ने 1.80 करोड़ रुपये नकद और सोने के गहने लूट लिए। एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने बताया कि घटना शिरूर तहसील के पिंपरखेड़ में हुई।
पांच लुटेरों ने दिया अंजाम
पुणे ग्रामीण के पुलिस अधीक्षक अभिनव देशमुख ने कहा कि दोपहर करीब 1.30 बजे जब बैंक में कुछ ही ग्राहक थे, मास्क पहने चार लुटेरे बैंक में घुस गए। इनमें से एक बाहर ही पहरा दे रहा था। उन्होंने बैंक मैनेजर और कैशियर को बंदूकों से धमकाया और लॉकरों से नकदी और सोने के गहने सौंपने को कहा।
चार से पांच मिनट में दिया अंजाम
एसपी ने कहा कि चूंकि सभी लुटेरे बंदूक लिए हुए थे, मैनेजर और कैशियर ने जैसा कहा था वैसा ही किया। लुटेरे 1.50 करोड़ रुपये के सोने के गहने और 33 लाख रुपये नकद लूटकर एक एसयूवी में भाग गए। देशमुख ने कहा कि पूरी घटना चार या पांच मिनट में हुई।
उन्होंने कहा कि पिंपराखेड़ एक सुदूर गांव है, इसलिए लुटेरों ने वहां हमला करने का फैसला किया होगा। उन्होंने पहले भी रेकी की होगी। एसपी ने कहा कि वहां कोई सुरक्षा गार्ड नहीं था क्योंकि यह एक छोटी शाखा है। इसमें एक सुरक्षा अलार्म सिस्टम है लेकिन मैनेजर या कैशियर ने इसे नहीं दबाया क्योंकि वे डर गए थे।
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