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Cyclone Gulab: चक्रवाती तूफान 'गुलाब' ने उत्तरी आंध्र और दक्षिण ओडिशा के तट पार किए, श्रीकाकुलम में दो मछुआरों की मौत

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चक्रवाती तूफान ‘गुलाब’ का लैंडफॉल रविवार शाम करीब छह बजे शुरू हो गया। यह करीब तीन घंटे चला। इसके बाद रात 8.30 बजे इसने उत्तरी आंध्र प्रदेश और दक्षिण ओडिशा के तटों को पार कर लिया। मौसम विभाग के अनुसार अगले छह घंटे में यह गहरे दबाव क्षेत्र में बदल जाएगा।

ओडिशा के विशेष राहत आयुक्त पीके जेना ने बताया कि ‘चक्रवाती तूफान ‘गुलाब’ का शाम करीब छह बजे शुरू हुआ लैंडफॉल का सिलसिला अब भी जारी है। आसमान में जो गहरे बादल घिर आए हैं उसके 1-1.5 घंटे में समुद्र की तरफ बढ़ने की उम्मीद है। इस दौरान ओडिशा में हल्की से मध्यम बारिश हो सकती है।’

पीके जेना ने आगे कहा कि ‘मौसम विभाग की रिपोर्ट से संकेत मिलता है कि रात बढ़ने के साथ बारिश बढ़ने की संभावना है। जिला प्रशासन ने चौकसी बरतने को कहा है। अभी तक कोई बड़ा भूस्खलन नहीं हुआ है। रात नौ बजे तक, छह जिलों में लगभग 39,000 लोगों को निकाला गया है।’

 

इससे पहले मौसम विभाग ने कहा था कि तूफान देर रात तक ओडिशा के गोपालपुर और आंध्र प्रदेश के विशाखापत्तनम तटों के बीच टकराएगा। आंध्र के श्रीकाकुलम में एक नाव में सवार छह में से पांच मछुआरे तेज लहरों के कारण उछलकर समुद्र में गिर गए। इनमें से तीन तैरकर तट पर आ गए, लेकिन उनका कहना है दो अन्य की मौत हो गई। एक अन्य मछुआरा जो नाव में था, वह अभी लापता बताया गया है। शहर के 61 राहत शिविरों में 1100 लोगों को ठहराया गया है। संयुक्त कलेक्टर सुमित कुमार ने बताया कि अगले दो घंटे महत्वपूर्ण हैं। इस दौरान 90 से 100 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से हवा चल सकती है। एनडीआरएफ की दो व एसडीआरएफ की चार टीमें क्षेत्र में पहुंच गई हैं।

नवीन पटनायक ने शून्य नुकसान का रखा लक्ष्य

चक्रवात ‘गुलाब’ के खतरे को देखते हुए ओडिशा के मुख्यमंत्री नवीन पटनायक ने आज दिल्ली के ओडिशा भवन में एक बैठक की और आवश्यक सावधानियों पर चर्चा की। उन्होंने कहा कि 10 जिलों में इस तूफान का प्रभाव सबसे अधिक रहने की संभावना है। पटनायक ने राज्य के मुख्य सचिव व जिला कलेक्टरों के साथ वर्चुअल मीटिंग की। तूफान की आशंका वाले जिलों में शून्य नुकसानी का लक्ष्य तय किया।

पांच हजार लोगों को निकाला

ओडिशा के राज्य के राहत आयुक्त पीके जेना ने मीडिया को बताया कि ओडिशा के तटीय 11 जिलों में हमने एनडीआरएफ की 24 और ओडीआरएफ की 42 टीमें तैनात की हैं। गजपति व गंजाम जिलों से 5000 से ज्यादा लोगों को सुरक्षित स्थानों पर भेजा गया है। ओडिशा सरकार के वरिष्ठ अधिकारी के मुताबिक, सात जिलों- गजपति, गंजम, रायगढ़ा, कोरापुट, मल्काजगिरि, नबरंगपुर और कंधमाल- को हाई अलर्ट पर रखा गया है क्योंकि भारत के मौसम विभाग (आईएमडी) ने बंगाल की खाड़ी के ऊपर चक्रवाती तूफान बनने का पूर्वानुमान लगाया है। आईएमडी के पूर्वानुमान के मुताबिक तूफान दक्षिणी ओडिशा और पड़ोसी आंध्र प्रदेश के तट की ओर बढ़ सकता है।

मछुआरों को समुद्र में नहीं जाने की चेतावनी

अगले तीन दिनों के दौरान समुद्र में ऊंची लहरें उठेंगी और ओडिशा, पश्चिम बंगाल और आंध्र प्रदेश में मछुआरों को 27 सितंबर तक बंगाल की खाड़ी के पूर्वी-मध्य और उत्तरपूर्वी क्षेत्र में समुद्र में जाने से मना किया गया है। पाकिस्तान ने इस तूफान का नाम ‘गुलाब’ रखा है।

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