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बयान पर बवाल: शिवसेना नेता अरविंद सावंत बोले- कंगना रणौत के खिलाफ दर्ज हो राजद्रोह का मुकदमा, वापस लें पद्म पुरस्कार

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न्यूज डेस्क, अमर उजाला, मुंबई
Published by: देव कश्यप
Updated Sun, 14 Nov 2021 02:33 AM IST

सार

शिवसेना नेता अरविंद सावंत ने कंगना से पद्म पुरस्कार वापस लेने की मांग की और कहा कि उनके खिलाफ राजद्रोह का मामला दर्ज किया जाना चाहिए।

फिल्म अभिनेत्री कंगना रणौत
– फोटो : Instagram

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फिल्म अभिनेत्री कंगना रणौत ने देश की आजादी को लेकर विवादित बयान दिया था। कंगना रणौत ने कहा था कि 1947 में मिली आजादी ‘भीख’ थी। कंगना के इस बयान पर सियासी घमासान थमता नजर नहीं आ रहा। शिवसेना ने बॉलीवुड अभिनेत्री कंगना रणौत के इस बयान को लेकर हस्ताक्षर अभियान शुरू किया है।

कंगना के खिलाफ हस्ताक्षर अभियान शुरू
शिवसेना के वरिष्ठ नेता और सांसद अरविंद सावंत के नेतृत्व में मुंबई के छत्रपति शिवाजी महाराज टर्मिनस के बाहर हस्ताक्षर अभियान शुरू किया गया। शिवसेना नेता अरविंद सावंत ने कंगना के बयान से उत्पन्न विवाद से पल्ला झाड़ने के लिए भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) पर हमला बोला। उन्होंने कहा कि “भाजपा हमेशा यही करती है। वे जिम्मेदारी से कैसे मुंह मोड़ सकते हैं। इसी सरकार ने कंगना को पद्म पुरस्कार देने के लिए सिफारिश की थी। पहले भी कंगना के पीछे भाजपा थी तो अब क्या हुआ? वे इस बात पर ध्यान नहीं दे रहे हैं कि उनके द्वारा की गई टिप्पणी सही है या नहीं।”

शिवसेना नेता अरविंद सावंत ने कंगना से पद्म पुरस्कार वापस लेने की मांग की और कहा कि उनके खिलाफ राजद्रोह का मामला दर्ज किया जाना चाहिए। शिवसेना से अभिनेत्री के टकराव के इतिहास को लेकर पूछे जाने पर सावंत ने कहा कि कंगना अच्छी अभिनेत्री थीं, लेकिन उनके विचार निम्न स्तर के हैं। सोशल मीडिया पर विचार व्यक्त करने का तरीका शोभा नहीं देता।

देशद्रोह का मामला दर्ज करने की मांग
शिवसेना नेता अरविंद सावंत ने कहा कि “यह कहना कि 1947 की स्वतंत्रता एक ‘भीख’ थी, यह महात्मा गांधी, जवाहरलाल नेहरू, वल्लभभाई पटेल और अन्य स्वतंत्रता सेनानियों के संघर्षों का अपमान है और अब राष्ट्रपति को इस मामले पर विचार करना चाहिए और उन्हें दिया गया पद्म पुरस्कार वापस लेना चाहिए और उसके खिलाफ देशद्रोह का मामला दर्ज किया जाए।”

इससे पहले, भाजपा नेता राम कदम ने कहा कि हजारों स्वतंत्रता सेनानियों ने देश की आजादी के लिए अपना बलिदान दिया था और इसलिए, इस संबंध में किसी विशेष व्यक्ति की टिप्पणियों का समर्थन नहीं किया जा सकता है।

इस बीच, कांग्रेस, शिवसेना और आम आदमी पार्टी सहित सभी प्रमुख दलों ने मांग की है कि कंगना रनौत के खिलाफ उनकी विवादास्पद टिप्पणी को लेकर मामला दर्ज किया जाए।

विस्तार

फिल्म अभिनेत्री कंगना रणौत ने देश की आजादी को लेकर विवादित बयान दिया था। कंगना रणौत ने कहा था कि 1947 में मिली आजादी ‘भीख’ थी। कंगना के इस बयान पर सियासी घमासान थमता नजर नहीं आ रहा। शिवसेना ने बॉलीवुड अभिनेत्री कंगना रणौत के इस बयान को लेकर हस्ताक्षर अभियान शुरू किया है।

कंगना के खिलाफ हस्ताक्षर अभियान शुरू

शिवसेना के वरिष्ठ नेता और सांसद अरविंद सावंत के नेतृत्व में मुंबई के छत्रपति शिवाजी महाराज टर्मिनस के बाहर हस्ताक्षर अभियान शुरू किया गया। शिवसेना नेता अरविंद सावंत ने कंगना के बयान से उत्पन्न विवाद से पल्ला झाड़ने के लिए भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) पर हमला बोला। उन्होंने कहा कि “भाजपा हमेशा यही करती है। वे जिम्मेदारी से कैसे मुंह मोड़ सकते हैं। इसी सरकार ने कंगना को पद्म पुरस्कार देने के लिए सिफारिश की थी। पहले भी कंगना के पीछे भाजपा थी तो अब क्या हुआ? वे इस बात पर ध्यान नहीं दे रहे हैं कि उनके द्वारा की गई टिप्पणी सही है या नहीं।”

शिवसेना नेता अरविंद सावंत ने कंगना से पद्म पुरस्कार वापस लेने की मांग की और कहा कि उनके खिलाफ राजद्रोह का मामला दर्ज किया जाना चाहिए। शिवसेना से अभिनेत्री के टकराव के इतिहास को लेकर पूछे जाने पर सावंत ने कहा कि कंगना अच्छी अभिनेत्री थीं, लेकिन उनके विचार निम्न स्तर के हैं। सोशल मीडिया पर विचार व्यक्त करने का तरीका शोभा नहीं देता।

देशद्रोह का मामला दर्ज करने की मांग

शिवसेना नेता अरविंद सावंत ने कहा कि “यह कहना कि 1947 की स्वतंत्रता एक ‘भीख’ थी, यह महात्मा गांधी, जवाहरलाल नेहरू, वल्लभभाई पटेल और अन्य स्वतंत्रता सेनानियों के संघर्षों का अपमान है और अब राष्ट्रपति को इस मामले पर विचार करना चाहिए और उन्हें दिया गया पद्म पुरस्कार वापस लेना चाहिए और उसके खिलाफ देशद्रोह का मामला दर्ज किया जाए।”

इससे पहले, भाजपा नेता राम कदम ने कहा कि हजारों स्वतंत्रता सेनानियों ने देश की आजादी के लिए अपना बलिदान दिया था और इसलिए, इस संबंध में किसी विशेष व्यक्ति की टिप्पणियों का समर्थन नहीं किया जा सकता है।

इस बीच, कांग्रेस, शिवसेना और आम आदमी पार्टी सहित सभी प्रमुख दलों ने मांग की है कि कंगना रनौत के खिलाफ उनकी विवादास्पद टिप्पणी को लेकर मामला दर्ज किया जाए।

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