दक्षिण में कन्नड़ फिल्म इंडस्ट्री की दिग्गज अभिनेत्री प्रतिमा देवी का 88 वर्ष की आयु में निधन हो गया है। बताया जा रहा है कि वह बीमार थीं और खराब स्वास्थ्य के बाद 6 अप्रैल को उनका निधन हो गया। जानकारी के अनुसार अंतिम संस्कार के लिए उनके पार्थिव शरीर को दिवंगत पति के घर मैसूर ले जाया गया।
बता दें कि प्रतिमा देवी ने अपने करियर में 60 से अधिक फिल्मों में अभिनय किया। उनकी आखिरी फिल्म ‘रमा शमा भामा’ थी, जो 2005 में रिलीज हुई थी। वे दक्षिण की पुरानी अभिनेत्रियों में से एक थीं। प्रतिमा देवी ने अपना डेब्यू 1947 में ‘कृष्णलीला’ नाम की फिल्म से किया था। इसके बाद साल 1951 में उन्होंने ‘जगनमोहिनी’ नाम की फिल्म में मुख्य भूमिका निभाई थी।
‘जगनमोहिनी’ पहली कन्नड़ फिल्म थी जिसने बॉक्स ऑफिस पर लगातार 100 दिन पूरे किए थे। प्रतिमा देवी को कर्नाटक सरकार द्वारा 2000-01 के लिए लाइफटाइम अचीवमेंट अवॉर्ड दिया गया था। बता दें कि अभिनेत्री की शादी साउथ निर्देशक शंकर से हुई थी। उनके बेटे राजेंद्र सिंह भी एक फिल्म डायरेक्टर हैं और बेटी विजयलक्ष्मी सिंह अभिनेत्री व फिल्म निर्माता हैं।
प्रतिमा देवी ने अपने अभिनय के सपने को पूरा करने के लिए घर छोड़ दिया था। एक्टिंग के प्रति उनमें इतना जुनून था कि महज 11 साल की उम्र में इसके लिए कोशिशें शुरू कर दी थीं। इसलिए वह अपने घर उडूपी से निकल गई थीं। सिर्फ 13 साल की उम्र में उन्होंने सिनेमा में एंट्री भी मार दी। इतनी कम उम्र में उन्हें पहली फिल्म ‘कृष्ण लीला’ मिली थी।
लोकप्रिय अभिनेत्री प्रतिमा देवी के निधन की खबर सुनकर इंडस्ट्री के लोग व फैंस दुखी हैं और श्रद्धांजलि दे रहे हैं। एक ट्विटर यूजर ने लिखा ‘यह जानकर दुखी हूं कि प्रतिमा देवी अब नहीं रहीं। वह अच्छी इंसान और सहायक थीं।’ बता दें कि दिग्गज अभिनेत्री के तीन बच्चे एसवी राजेंद्र सिंह, बाबू और विजयलक्ष्मी सिंह हैं।
दक्षिण में कन्नड़ फिल्म इंडस्ट्री की दिग्गज अभिनेत्री प्रतिमा देवी का 88 वर्ष की आयु में निधन हो गया है। बताया जा रहा है कि वह बीमार थीं और खराब स्वास्थ्य के बाद 6 अप्रैल को उनका निधन हो गया। जानकारी के अनुसार अंतिम संस्कार के लिए उनके पार्थिव शरीर को दिवंगत पति के घर मैसूर ले जाया गया।
बता दें कि प्रतिमा देवी ने अपने करियर में 60 से अधिक फिल्मों में अभिनय किया। उनकी आखिरी फिल्म ‘रमा शमा भामा’ थी, जो 2005 में रिलीज हुई थी। वे दक्षिण की पुरानी अभिनेत्रियों में से एक थीं। प्रतिमा देवी ने अपना डेब्यू 1947 में ‘कृष्णलीला’ नाम की फिल्म से किया था। इसके बाद साल 1951 में उन्होंने ‘जगनमोहिनी’ नाम की फिल्म में मुख्य भूमिका निभाई थी।
‘जगनमोहिनी’ पहली कन्नड़ फिल्म थी जिसने बॉक्स ऑफिस पर लगातार 100 दिन पूरे किए थे। प्रतिमा देवी को कर्नाटक सरकार द्वारा 2000-01 के लिए लाइफटाइम अचीवमेंट अवॉर्ड दिया गया था। बता दें कि अभिनेत्री की शादी साउथ निर्देशक शंकर से हुई थी। उनके बेटे राजेंद्र सिंह भी एक फिल्म डायरेक्टर हैं और बेटी विजयलक्ष्मी सिंह अभिनेत्री व फिल्म निर्माता हैं।
प्रतिमा देवी ने अपने अभिनय के सपने को पूरा करने के लिए घर छोड़ दिया था। एक्टिंग के प्रति उनमें इतना जुनून था कि महज 11 साल की उम्र में इसके लिए कोशिशें शुरू कर दी थीं। इसलिए वह अपने घर उडूपी से निकल गई थीं। सिर्फ 13 साल की उम्र में उन्होंने सिनेमा में एंट्री भी मार दी। इतनी कम उम्र में उन्हें पहली फिल्म ‘कृष्ण लीला’ मिली थी।
लोकप्रिय अभिनेत्री प्रतिमा देवी के निधन की खबर सुनकर इंडस्ट्री के लोग व फैंस दुखी हैं और श्रद्धांजलि दे रहे हैं। एक ट्विटर यूजर ने लिखा ‘यह जानकर दुखी हूं कि प्रतिमा देवी अब नहीं रहीं। वह अच्छी इंसान और सहायक थीं।’ बता दें कि दिग्गज अभिनेत्री के तीन बच्चे एसवी राजेंद्र सिंह, बाबू और विजयलक्ष्मी सिंह हैं।
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